आने से पहले 60 साल से अधिक उम्र यानी सीनियर सिटीजन को रेल टिकट पर 50% की छूट मिलती थी लेकिन आने के बाद इसे खत्म कर दिया गया। सीनियर सिटीजन को काफी लंबे समय से यह था कि रेलवे टिकट पर उन्हें छूट देगी लेकिन अब रेलवे ने दो टूक कहा है कि सीनियर सिटीजंस को किसी भी तरह की छूट नहीं दी जाएगी।
लेकिन कोरोना काल में जब रेल सेवा बंद की गई तो इस छूट को खत्म कर दिया गया। कोविड-19 खत्म होने के बाद रेल सेवा शुरू की गई लेकिन सीनियर सिटीजन को मिलने वाले या फिर दोबारा नहीं शुरू की जा सकी।
इतना ही नहीं सरकार का आगे भी सीनियर सिटीजंस को किराए में मिलने वाली छूट देने का कोई इरादा नहीं है।
केवल 3 कैटेगरी के लोगों को मिल रही है छूट की सुविधा-
रेल मंत्री वैष्णव ने बताया कि संसद में एक लिखित जवाब में उन्होंने कहा कि सीनियर सिटीजन को ट्रेन टिकट पर छूट देने से सरकार के खजाने पर भारी बोझ पड़ता है।
इसलिए इसे बहाल करने की कोई योजना नहीं है। केवल स्पेशल कैटगरी वाले लोगों को किराए में छूट की सुविधा दोबारा शुरू की गई है। इनमें चार श्रेणी के दिव्यांग, 11 कैटगरी के मरीज और और छात्र शामिल हैं। सीनियर सिटीजंस और खिलाड़ियों के साथ-साथ बाकी कैटगरी के यात्रियों के लिए यह सुविधा बहाल नहीं की गई है।
छूट देने से रेलवे को हो रहा घाटा-
रेल मंत्री ने कहा कि 2017-18 में सीनियर सिटीजंस को टिकट पर छूट रेलवे पर 1491 करोड़ रुपए का बोझ पड़ा। 2018-19 में यह राशि 1636 करोड़ रुपए और 2019-20 में 1667 करोड़ रुपए रही। रेलवे के द्वारा छोड़ देने का इंतजार काफी लंबे समय से सीनियर सिटीजन के द्वारा किए जा रहे है लेकिन अब यह छूट नहीं दी जाएगी।