अधिकतर बच्चे कंपटीशन की तैयारी यह सोच के करते हैं की उन्हें आईएएस बनना है. कई छात्रों को पहले प्रयास में सफलता मिल जाती है लेकिन कई लोग कई बार फेल होने के बाद सफल हो पाते. इस परीक्षा में सबसे अधिक आवश्यक सही स्ट्रेटजी से तैयारी करना होता है. जो भी सही स्ट्रेटजी के साथ तैयारी करते हैं उनके सफलता को कोई रोक नहीं पाता है. आज हम आपको बताने वाले हैं बिहार के एक ऐसे लड़के की कहानी जिसने 22 साल की उम्र में बिना किसी कोचिंग के आईएएस की परीक्षा को पास कर लिया. उसने यह साबित कर दिया कि अगर मन से किसी चीज को करने की ठान लो तो कोई आपका रास्ता नहीं रोक सकता.
मधुबनी के मुकुंद कुमार ने यूपीएससी 2019 में हासिल की 54वीं रैंक-आपको बताने वाले हैं मधुबनी के रहने वाले मुकुंद कुमार की कहानी. मधुबनी जिले के रहने वाले हैं उनके पिता एक किसान हैं उनकी माता एक प्राइमरी स्कूल में टीचर है. मुकुंद अपने स्कूल के टाइम में ही है सोच लिए थे कि उन्हें आईएएस बनना है. मुकुंद के तीन बहने भी है.मुकुंद ने यूपीएससी मे 2019 की परीक्षा में हिस्सा लिया और ऑल इंडिया 54वीं रैंक हासिल की।
पांचवीं में पहली बार IAS-PCS के बारे में सुना, बाद में इसे बना लिया लक्ष्य- मुकुंद क्लास 5 में थे तभी उन्होंने आईएएस पीसीएस के बारे में सुना था और तब उन्होंने ठान लिया था कि मुझे आईएएस अफसर बनना है. हालांकि उन्होंने अपने परिवार की स्थिति देखते हुए कोचिंग ज्वाइन नहीं की. उन्होंने अपने आईएएस की तैयारी के लिए सेल्फ स्टडी करना शुरू किया. और अपनी मंजिल खुद तैयार की.
DU से ग्रेजुएशन के बाद सिविल सेवा की तैयारी में जुटे, बिना कोचिंग पाई कामयाबी-मुकुंद ने अपनी पांचवी तक की पढ़ाई आवासीय सरस्वती विद्यालय से की थी .10वी करने के बाद वह गोपाल पड़ा के सैनिक स्कूल से 12वीं किए. 12वीं करने के बाद मुकुंद दिल्ली चले गए और वहां उन्होंने दिल्ली यूनिवर्सिटी से अंग्रेजी लिटरेचर में अपना ग्रेजुएशन किया. ग्रेजुएशन करने के बाद उनके उमरी ऊपर से परीक्षा देने के लायक भी नहीं हुए थे इसलिए उन्होंने 1 साल से तैयारी की. उन्होंने यूपीएससी की तैयारी के लिए किसी कोचिंग का सहारा नहीं लिया.
12 से 14 घंटे पढ़ाई, सोशल मीडिया से दूरी, कुछ ऐसी थी स्ट्रेटजी- मुकुंद ने बताया कि मैंने बिना कोचिंग एक सही स्ट्रेटजी के साथ तैयारी किया. मैं खुद को भाग्यशाली मानता हूं कि मैंने पहले प्रयास में ही आईएएस जैसे परीक्षा को पास कर लिया. मुकुंद ने बताया कि मैंने अपने यूपीएससी के परीक्षा के तैयारी के दौरान सोशल मीडिया से काफी ज्यादा दूरी बना लिया था. मैं रोजाना 12 से 14 घंटे पढ़ाई किया करता था. साथ ही साथ मैंने अपने ऑप्शनल सब्जेक्ट को 5 महीने दे और बहुत अच्छे से ऑप्शनल सब्जेक्ट की तैयारी की. और अंततः मुझे सफलता मिले.
मुकुंद की कहानी हमें यह बताती है कि अगर हम मन से करने की चाहे तो हम हर हाल में सफल होंगे. आईएएस की तैयारी के लिए जरूरी है कि आप एक सही रणनीति के साथ-साथ कड़ी मेहनत करें. आत्मविश्वास के साथ ही आईएएस के एग्जाम को क्या किया जा सकता है.